लेखनी प्रतियोगिता- कविता-विजय पोखरणा "यस" पहरेदार -02-Jan-2023
🪖🪖पहरेदार🪖🪖
पीछे मुड़ना मैने सीखा नहीं
बाधाओ को पार करना कठिन नहीं
दुश्मन आंख उठा सकता नहीं
सीमा सुरक्षा में कोई कसर नहीं
पाक चाईना आंख उठा नहीं सकते
दुश्मन के मिंटो में दांत खट्टे मैं करता
सर्जिकल स्ट्राईक मिनटों में करता
विश्व में अपनी धाक जमा रखता
नहीं सानी कोई मेरा विश्व में
नभ, जल, थल में स्तूती बोलती मेरी
हिम्मत नहीं कर सकता दुश्मन कोई
विदेशी सैन्य अभ्यास में अग्रणी रहता मैं
अहिंसा का मैं पालनहारा
विश्व शांति का अद्भुत उदाहरण
शांति का मैं पाठ पढ़ाता
लेकिन दुश्मन को मै नहीं छोड़ता
आगे बढ़ते जाना मेरा काम
बर्फ रेगिस्तान पहाड़ मे अडिग मैं
जल थल नभ का वासी हूं मैं
सीमा का सजग पहरेदार हूं मैं
करे दुश्मनों का सर्वनाश
करता रक्षा हमारी सदैव
हम रहते आश्वस्त हमेशा
रखे भरोसा उसपर हमेशा
✍️विजय पोखरणा "यस"
अजमेर
Raziya bano
04-Jan-2023 11:16 AM
Nice
Reply
Varsha_Upadhyay
03-Jan-2023 07:21 PM
शानदार
Reply
Muskan khan
03-Jan-2023 07:14 PM
Nice 👌
Reply